- झारखंड प्रदेश प्रवरण वेतनमान संघर्ष मोर्चा की राज्यस्तरीय बैठक में लिये गए कई निर्णय
रांची। प्रवरण वेतनमान को लेकर शिक्षक मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मिलेंगे। यह निर्णय रांची के हरमू स्थित स्वागतम वैंकट हॉल में 18 दिसंबर को हुई झारखंड प्रदेश प्रवरण वेतनमान संघर्ष मोर्चा की राज्यस्तरीय बैठक में लिया गया। इसकी अध्यक्षता मोर्चा के अध्यक्ष गिरिजा नंदन प्रसाद ने की। इसमें राज्य के सभी जिला के संयोजक शामिल हुए।
मोर्चा के प्रदेश सचिव अमरनाथ झा ने विभिन्न जिले में अलग-अलग ढंग से प्रवरण वेतनमान दिये जाने, पूर्व से प्रवरण वेतन प्राप्त कर रहे देवघर, गढ़वा एवं पाकुड जिले में निदेशक के अविधिक पत्र द्वारा पूर्व के आदेश को संशोधन कर कटौती करने, अवमाननावाद (संख्या 605 /2020) में विभाग द्वारा अलग-अलग ढंग से शपथ पत्र दाखिल करने, शिक्षा मंत्री के निर्देश पर विभागीय सचिव के साथ हुई वार्ता और पुनः 13 दिसंबर को शिक्षा मंत्री से हुई बातों को रखा।
मौके पर सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया कि सर्वप्रथम दुमका जिले के शिक्षकों के नेतृत्व में मुख्यमंत्री से मुलाकात की जाएगी। उन्हें शिक्षा विभाग के अधिकारी द्वारा राज्यपाल की सहमति से बने एक्ट को बदले जाने की जानकारी दी जाएगी। यह भी बताया जाएगा कि राज्य बनने के बाद बने अधिनियम को पूर्ववर्ती राज्य के आदेश (संख्या-6022, दिनांक-18 जनवरी, 1989) का हवाला देकर कैसे मूल कोटि के स्नातक प्रशिक्षित शिक्षक को प्रवरण वेतनमान से वंचित किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री से बात नहीं बनने पर अवमाननावाद के मामले में सुनवाई की अगली तिथि 19 जनवरी, 2023 को वरीय वकील से बहस कराई जाएगी। विधानसभा सत्र में विधायकों द्वारा प्रश्न उठाया जाएगा। विधायक नवीन जायसवाल और विधायक मनीष जायसवाल का प्रश्न हो भी गया है कि विभिन्न आदेशों को निर्गत कर मूल कोटि के शिक्षक को प्रवरण लाभ से वंचित किया जा रहा है।
विधायक प्रो स्टीफन मरांडी ने शून्यकाल एवं सत्ताधारी पार्टी के मुख्य सचेतक नलिन सोरेन ने तारांकित प्रश्न उठाने का भरोसा दिया है। वैसे अपने-अपने क्षेत्र के सभी विधायकों से इससे संबंधित प्रश्न लाया जायेगा।
बैठक की संचालन संगठन मंत्री किनेश्वर महतो ने किया। आय व्यय का हिसाब कोषाध्यक्ष शिवाजी सिंह ने दिया।
मौके पर गंगाप्रसाद यादव, रवींद्र प्रसाद सिंह, यशवंत विजय, अनिल कुमार सिंह, नरेश प्रसाद सिंह, रामप्रवेश तिवारी, जनार्दन प्रसाद सिंह, अवधेश नारायण सिंह सहित दो विधि विशेषज्ञ विश्राम भगत एवं मुरारी प्रसाद भी मौजूद थे। धन्यवाद कार्यालय प्रभारी मो रियाज अहमद ने किया।