विनोबा भावे विवि के नौवें दीक्षांत समारोह में बोले कुलाधिपति- ज्ञान और विनम्रता से राष्ट्र निर्माण में दें योगदान

झारखंड
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हजारीबाग। विनोबाभावे विश्वविद्यालय हजारीबाग के नौवें दीक्षांत समारोह में गुरुवार को बतौर मुख्य अतिथि झारखंड के राज्यपाल व कुलाधिपति रमेश बैस ने कहा कि ज्ञान व विनम्रता से आगे बढ़ते हुए राष्ट्र निर्माण में योगदान दें।

इससे पहले विनोबाभावे विश्वविद्यालय के विवेकानंद सभागार में उन्होंने वर्ष 2017 से तीन मार्च 2022 तक के पीएचडी, पीजी और स्नातक के विभिन्न विभागों के करीब 200 टॉपर विद्यार्थियों को डिग्री और गोल्ड मेडल देकर सम्मानित किया। मौके पर उन्होंने डिग्रीधारकों को बधाई और शुभकामनाएं देते हुए कहा कि क्वालिटी एजुकेशन और शोध को बढ़ावा देना है। उच्च शिक्षा के लिए विद्यार्थी बाहर जा रहे हैं उन कारणों को जानते हुए इसमें परिवर्तन लाएं और यहीं स्थानीय स्तर पर उनकी शोधपरक और रोजगारपरक शिक्षा की व्यवस्था करें।

दीक्षांत को अंत शिक्षा का अंत नहीं है, बल्कि जिंदगी को कसौटी पर उतारने के लिए यहां से मार्ग शुरू होता है। शिक्षक समाज का प्रकाश स्तंभ होते हैं और शिष्यों को अंधकार से प्रकाश की ओर ले जाते हैं। इससे पहले कुलपति प्रो. डॉ मुकुल नारायण देव ने स्वागत भाषण देते हुए विनोबाभावे विश्वविद्यालय का गौरवशाली इतिहास और यहां अर्जित अब तक की उपलब्धियों का वर्णन किया।

उन्होंने कुलाधिपति को अभिभावक बताते हुए पीजी में तीन दशक से बाट जोह रहे शिक्षकों की कमी पूरा करने और एकेडेमिक सहयोग के लिए आभार जताया। कुलाधिपति को स्मृति चिह्न भेंट किया गया। इससे पहले उन्होंने संत विनोबाभावे की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। मंच संचालन विनोबाभावे विश्वविद्यालय के कुलसचिव बीके गुप्ता व एनएसएस को-ऑर्डिनेटर जॉनी रूफिना तिर्की ने किया।

समारोह में दीक्षांत समारोह की स्मारिका का विमोचन राज्यपाल व कुलाधिपति ने किया। धन्यवाद ज्ञापन प्रतिकुलपति डॉ अजीत कुमार सिन्हा ने किया। राष्ट्रगान से आरंभ कार्यक्रम का समापन भी राष्ट्रगान से हुआ। विनोबाभावे विश्वविद्यालय के कुलगीत भी गाए गए। कुलाधिपति व राज्यपाल के हाथों डिग्री पाकर सभी डिग्रीधारक उत्साहित और खुश दिखे।

मौके पर डीआईजी, डीसी नैंसी सहाय, एसपी मनोज रतन चोथे, विनोबाभावे विश्वविद्यालय के पीआरओ व राजनीति विभाग के प्राध्यापक डॉ प्रमोद कुमार समेत सीनेट-सिंडिकेट के सदस्य, विभिन्न संकायों के डीन, विभागाध्यक्ष, प्राचार्य समेत डिग्रीधारक मौजूद थे।