नाबार्ड की राज्य ऋण संगोष्ठी 23 फरवरी को, कई विषयों पर होगा मंथन

झारखंड
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रांची। राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) की राज्य ऋण संगोष्ठी रांची के धुर्वा स्थित झारखंड मंत्रालय सभागार में 23 फरवरी को होगी। इसमें राज्य सरकार, नाबार्ड, बैंक और अन्य एजेंसियों के कार्यक्रम एवं योजनाओं के अभिसरण और तालमेल के लिए रणनीति पर मंथन किया जाएगा। साथ ही, वर्ष 2022-23 के लिए राज्य की विकासात्मक क्षमता का अधिकतम दोहन सुनिश्चित करने और प्राथमिक क्षेत्रों के तहत ऋण जरूरतों को अंतिम रूप देने पर विचार किया जाएगा।

कार्यक्रम का उद्घाटन मुख्‍यमंत्री हेमंत सोरेन करेंगे। इस अवसर पर वित्त, वाणिज्यकर, खाद्य, आपूर्ति और उपभोक्ता मामले विभाग के मंत्री डॉ रामेश्वर उरांव और कृषि, पशुपालन और सहकारिता मंत्री बादल पत्रलेख विशिष्ट अतिथि होंगे।

ऋण आयोजना कार्य के रूप में नाबार्ड हर साल प्रत्येक जिले के लिए संभावता युक्त ऋण  योजना (पीएलपी) तैयार करता है। ये दस्तावेज जमीनी स्तर पर ऋण क्षमता के साथ-साथ उपलब्ध क्षमता को प्राप्त करने के लिए आवश्यक बुनियादी सुविधाओं और लिंकेज को भी दर्शाता  है। आरबीआई के निर्देशों के अनुसार पीएलपी बैंकों की वार्षिक क्रेडिट योजनाओं का आधार बनते हैं। राज्य फोकस पेपर (एसएफपी) राज्य स्तर पर पीएलपी अभ्यास की परिणति है। इससे राज्य सरकार को ग्रामीण बुनियादी ढांचे और अन्य विकास पहलों के लिए धन आवंटन को प्राथमिकता देने में सुविधा होती है।

वर्ष 2022-23 के लिए राज्य फोकस पेपर (एसएफपी), राज्य में प्राथमिकता क्षेत्र के समग्र विकास के लिए एक कार्यान्वयन-योग्य राज्य ऋण कार्यक्रम की रणनीति बनाने के लिए क्षेत्रवार विश्लेषण के साथ-साथ भौतिक और वित्तीय परिमाणीकरण के रूप में क्षमता को प्रस्तुत करता है। दस्तावेज में राज्य के वर्ष 2022-23 के बजट में शामिल करने के लिए महत्वपूर्ण सुझाव भी शामिल हैं।

कार्यक्रम में राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारी, वरिष्ठ बैंक अधिकारी, शिक्षाविद, कृषि अनुसंधान संस्थान, प्रगतिशील किसान, महिला उद्यमी, और गैर सरकारी संगठन भाग लेंगे। इस अवसर पर अच्छा प्रदर्शन करने वाले एसएचजी//एफपीओ/किसानों को भी सम्मानित किया जाएगा।