रांची। गोस्सनर कॉलेज की बॉटनी की विभागाध्यक्ष डॉ नीरजा ओझा को रिटायरमेंट पर विदाई दी गई। समारोह कॉलेज परिसर में 30 जुलाई को आयोजित किया गया। इस अवसर पर डॉ मृदुला खेस ने कहा कि डॉ ओझा ने कॉलेज को 34 वर्ष दिये। कई विद्यार्थियों को पीएचडी भी कराया है। कई उपलब्धियां भी हासिल की।
डॉ नीरजा ओझा ने कहा कि यह एक परिवार है। जिंदगी के कई हसीन पलों को मैने इस प्रांगण में बिताया है। कई खट्टी मीठी यादें यहां से समेट कर जा रही हूं, पर हमेशा यह कॉलेज मेरे दिल में रहेगा।
कॉलेज की प्राचार्या प्रो ईलानी पूर्ति ने कहा कि भले ही आज डॉ नीरजा ओझा की विदाई हो रही हैं, पर यह एक नई शुरुआत है। आज से एक जिम्मेदारी खत्म हो रही है, पर जीवन की नई जिम्मेदारी की भी शुरुआत हो रही हैं। विभाग को ऊंचाइयों में ले जाने में उनका बहुमूल्य योगदान है। आगे भी मार्गदर्शन के लिए आग्रह किया।
महाविद्यालय की प्राचार्य और बर्सर प्रो आशा रानी केरकेट्टा ने प्रशस्ति पत्र और शॉल देकर उन्हें सम्मानित। स्टाफ एसोसिएशन के सचिव डॉ पीके गुप्ता ने सम्मान राशि दी।
डॉ प्रशांत गौरव ने उनके साथ बिताए लम्हों को साझा किया। उन्होंने कहा कि डॉ नीरजा का जीवन जमीन से जुड़ा हुआ हैं। वे हमेशा सभी से अच्छा बर्ताव करती रही है। उनकी कोशिश रहती है कि सभी की मदद कर सके।
डॉ चित्रा ने कहा कि डॉ नीरजा मां के साथ एक मार्गदर्शक भी है। वे ना सिर्फ शिक्षा, बल्कि परिवारिक मामलों में भी सलाह देती है।
डॉ एके लाल, डॉ बी दत्ता, डॉ बीएन घोष ने भी अपने विचार रखें। मंच संचालन प्रो महिमा गोल्डेन ने किया। इस अवसर पर कॉलेज के शिक्षक एवं शिक्षिकाएं उपस्थित थे।