नई दिल्ली। बड़ी खबर तेलंगाना से आयी है। भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के कार्यकारी अध्यक्ष केटी रामा राव ने बृहस्पतिवार को कहा कि तेलंगाना के मुख्यमंत्री और पार्टी प्रमुख के चंद्रशेखर राव ने केंद्र में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के खिलाफ विपक्षी दलों को एकजुट करने की कोशिश छोड़ दी है।
राज्य सरकार में मंत्री केटी रामा राव ने बृहस्पतिवार को बताया कि पार्टी अब देश में ‘तेलंगाना विकास मॉडल’ को पेश करने पर ध्यान देगी। रामा राव ने यह टिप्पणी ऐसे समय में की है, जब उनके पिता चंद्रशेखर राव अपनी पार्टी बीआरएस का विस्तार राष्ट्रीय स्तर पर करने की कोशिशों में जुटे हैं।
पत्रकारों से बातचीत करते हुए रामा राव ने भाजपा और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का परोक्ष हवाला देते हुए कहा कि देश को एक पार्टी या एक व्यक्ति के खिलाफ घृणा के आधार पर नहीं, बल्कि शासन के सकारात्मक मॉडल के आधार पर विपक्षी एकता की जरूरत है।
उन्होंने कहा, “ हम यह सारी कोशिशें करने बाद कह रहे हैं। हम इस नतीजे पर पहुंचे हैं कि एक नई राष्ट्रीय पार्टी हो (जिसे राष्ट्रीय स्तर पर ले जाया जाएगा), क्योंकि इस देश में एक बहुत बड़ा शून्य है। मूल बात है कि विपक्ष बुरी तरह विफल रहा है।”
चंद्रशेखर राव ने गैर भाजपा और गैर कांग्रेस दलों को एकजुट करने के लिए कई नेताओं से मुलाकात की थी, जिनमें एम के स्टालिन (तमिलनाडु), नीतीश कुमार (बिहार) और अरविंद केजरीवाल (दिल्ली) समेत कुछ राज्यों के मुख्यमंत्री भी शामिल थे। उनका आरोप था कि दोनों राष्ट्रीय दल देश का विकास करने में नाकाम रहे हैं।
तेलंगाना के मुख्यमंत्री ने अपनी पार्टी का विस्तार राष्ट्रीय स्तर पर करने की घोषणा के बाद महाराष्ट्र में तीन-चार जनसभाओं को संबोधित भी किया और पड़ोसी राज्य के कई नेता तबसे बीआरएस में शामिल भी हो गए। कर्नाटक विधानसभा चुनाव के नतीजों के बाद उन्होंने कहा था कि यह कांग्रेस की जीत नहीं है, बल्कि मौजूदा (भाजपा) सरकार को लोगों ने खारिज किया है।