किसान सदस्यों की संख्या बढ़ाएगी बीएयू समर्थित फार्मर प्रोडूसर कंपनी

झारखंड कृषि
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रांची। बिरसा कृषि विश्वविद्यालय, रांची समर्थित कांके ब्लाक 4एस4आर फार्मर प्रोडूसर कंपनी लिमिटेड द्वारा प्रखंड में छोटे एवं मझौले किसानों के हितों की रक्षा और उनकी जरूरतों को पूरा करने की पहल की जा रही है। कांके प्रखंड के सदस्य किसानों (बोर्ड ऑफ़ डायरेक्टर्स) द्वारा संचालित इस कंपनी के बोर्ड ऑफ़ डायरेक्टर्स की बैठक सुकुरहुटू स्थित कंपनी कार्यालय में हुई। बीएयू फार्मर प्रोडूसर आर्गेनाइजेशन के परियोजना अन्वेंषक डॉ बीके झा की अध्यक्षता में आयोजित इस बैठक में कंपनी के विस्तार पर विस्तृत चर्चा की गयी।

बैठक में प्रबंध निदेशक राजेन्द्र महतो ने कंपनी की वर्त्तमान स्थिति एवं भावी किसानोपयोगी योजनाओं से अवगत कराया। चर्चा के दौरा कंपनी के सभी निदेशकों द्वारा सघन सदस्यता अभियान चलाने, एक पखवाड़े में 300 किसान सदस्य को अंशदान सहित कंपनी से जोड़ने और अंशदान की राशि तीन लाख रूपये तक करने का निर्णय लिया गया। अंशदान की राशि पूरी होने पर कंपनी द्वारा भारत सरकार से अंशदान के लिए अनुदान के लिए आवेदन समर्पित करने का निर्णय लिया गया।

बैठक में परियोजना अन्वेंषक डॉ बीके झा ने कांके प्रखंड के प्रत्येक गांवों में बोर्ड ऑफ़ डायरेक्टर्स द्वारा अधिकतर किसान सदस्यों को जोड़ने और कृषि कार्य से जुड़ी इनपुट आवश्यकता का अविलंब आकलन करने पर जोर दिया गया, ताकि छोटे एवं मझौले किसानों को ससमय रियायती दर पर जरूरी कृषि इनपुट उपलब्ध कराया जा सके।

बैठक में सह परियोजना अन्वेंषक डॉ विनय कुमार एवं डॉ एचसी लाल ने पौधा संरक्षण की नवीनतम तकनीकी एवं गैर प्रतिबंधित दवाओं की जानकारी दी। इसे कंपनी माध्यम से सुदूर गांवों तक प्रचारित करने पर बल दिया। सह परियोजना अन्वेंषक डॉ एस जयसवाल ने कंपनी द्वारा किसानों की सुविधा के लिए शाँपिंग मॉल खोलने की सलाह दी। 

बैठक में वीएनआर कंपनी के बीज को गांवों में किसान सदस्यों को उपलब्ध कराने, लत्तरदार सब्जियों के उन्नत बीज की बिक्री शुरू करने और कंपनी के निदेशकों द्वारा अलग-अलग गांवों में बैठक करने और हर एक पखवाड़े में बोर्ड ऑफ़ डायरेक्टर्स की बैठक आयोजित करने का निर्णय लिया गया।

बैठक का संचालन परियोजना समन्यवयक अभिषेक श्रीवास्तव ने किया। बैठक में बोर्ड ऑफ़ डायरेक्टर्स सदस्य तुलसी महतो, कृष्णा कुमार, रुपाली राज, ब्रज किशोर महतो, सूरज प्रसाद यादव, अवशमनी देवी एवं यशोदा देवी भी मौजूद थे।