बीएयू के मजदूरों को जल्‍द मिलेगा वर्षों से लंबित भविष्य निधि का पैसा

झारखंड
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रांची। बिरसा कृषि विश्वविद्यालय के मजदूरों के लिए अच्‍छी खबर। वर्षों से लंबित भविष्‍य निधि का पैसा उन्‍हें जल्‍द मिलेगा। एटक से संबंद्ध बिरसा कृषि विश्‍वविद्यालय कर्मचारी संघ दैनिक मजदूरों को प्रोविडेंट फंड की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए बरसों से लड़ाई लड़ रहा है। यह लड़ाई अब अपने मुकाम को पाता नजर आ रहा है।

संघ के अध्यक्ष बीएन झा ने बताया कि विश्वविद्यालय में कार्यरत दैनिक मजदूरों की लड़ाई 1991 से जारी है। विश्वविद्यालय में कार्यरत मजदूरों को भविष्य निधि का लाभ नहीं मिल रहा था। इस पर क्षेत्रीय आयुक्त कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के समक्ष मामला दर्ज कराएं थे। इस पर आयुक्त ने 2017 से पीएफ देने का आदेश दिया। आदेश के बाद प्रबंधन ने मजदूरों से उसका अंशदान काटना शुरू कर दिया था। हालांकि इसका भुगतान प्रबंधन नहीं कर रहा था।

झारखंड ने बताया कि इसके बाद यूनियन हाई कोर्ट में अपील की। वहां प्रबंधन ने कोर्ट को लिखित रूप से बताया कि 1.20 करोड़ रुपये से अधिक की राशि ईपीएफ कार्यालय में जमा करा दी गई है। प्रबंधन ने बताया कि 2017 से मजदूरों का पीएफ काटा गया है। यूनियन की मांग है कि जब से मजदूर वहां कार्यरत हैं, उस समय से उन लोगों को पीएफ की सुविधा दी जाए। इस पर कोर्ट ने कहा कि बाकी मजदूरों का बायोडाटा के साथ 7 ए के तहत क्षेत्रीय आयुक्त कार्यालय भविष्य निधि रांची में मामला दर्ज करा कर वहां से निर्णय लें। उक्त आदेश 13 जुलाई 2020 को दिया गया है।

इस आदेश पर यूनियन ने आगे की कार्रवाई के लिए क्षेत्रीय कार्यालय आयुक्त के समक्ष अपना साक्ष्य प्रस्तुत करने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि लड़ाई लंबी चल रही है, लेकिन उन्हें पूरा भरोसा है कि मजदूरों का हक उन्हें जरूर मिलेगा। बता दें कि इसमें 754 मजदूरों का पीएफ जमा किया गया है।