समाज कल्याण योजनाओं की समीक्षा, कई सीडीपीओ को शोकॉज

झारखंड
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रांची। समाज कल्याण से संबंधित योजनाओं की समीक्षा बैठक 20 जनवरी को हुई। रांची उपायुक्त छवि रंजन की अध्यक्षता में आयोजित वर्चुअल बैठक में जिला समाज कल्याण पदाधिकारी शत्रुंजय कुमार एवं जिले के सभी सीडीपीओ, वार्डन उपस्थित थे।

बैठक में आंगनबाड़ी केंद्रों के लाभुकों को टीकाकरण की समीक्षा की गई। समीक्षा के क्रम में जिले की उपलब्धि 97% पाई गई। बाल विकास परियोजना नगड़ी की उपलब्धि 90% से कम पाए जाने के कारण उन्हें सख्त चेतावनी देते हुए शोकॉज किया गया। एएनसी में भी जिले से कम उपलब्धि पर सीडीपीओ नगड़ी से शो कॉज करने का आदेश उपायुक्त ने दिया।

5 फरवरी तक प्रदर्शन नहीं सुधारने पर कार्रवाई

उपायुक्त द्वारा प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना की समीक्षा की गई। समीक्षा के क्रम में निर्धारित लक्ष्य के विरुद्ध उपलब्धि 75% पाया गया। इस योजना अंतर्गत पहली बार गर्भवती माताओं को जच्चा-बच्चा के पूर्ण स्वस्थ रहने के लिए पोषण के लिए आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। जिला में लक्ष्य के विरुद्ध कम उपलब्धि होने पर जिले के सभी बाल विकास परियोजना पदाधिकारियों को 5 फरवरी, 2022 तक शत-प्रतिशत लक्ष्य प्राप्त करने की सख्त चेतावनी उपायुक्त द्वारा दी गई। लक्ष्य प्राप्त नहीं होने पर संबंधित बाल विकास परियोजना पदाधिकारी के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी। जिला समाज कल्याण पदाधिकारी को इस योजना का दैनिक प्रतिवेदन उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया।

मुख्यमंत्री सुकन्या योजना के समीक्षा क्रम में जिला की उपलब्धि 97% पाई गई। बाल विकास परियोजना रांची सदर, बुढ़मू ,तमाड़, लापुंग, नगड़ी की उपलब्धि 90% से कम पाए जाने पर सख्त चेतावनी के साथ अगले महीने के बैठक से पहले शत-प्रतिशत उपलब्धि प्राप्त करने का निर्देश दिया गया।

पूर्व में संचालित मुख्यमंत्री लक्ष्मी लाडली योजना की समीक्षा के दौरान कम संख्या में लाभुकों को एनएससी उपलब्ध कराए जाने पर उपायुक्त ने नाराजगी जताई। उन्होंने सभी सीडीपीओ को 15 फरवरी, 2022 तक लाभुकों को एनएससी उपलब्ध कराने का निर्देश दिया।

मुख्यमंत्री कन्यादान योजना की समीक्षा के क्रम में जिला समाज कल्याण पदाधिकारी ने बताया कि जिले की उपलब्धि 97% है। नगड़ी, सोनाहातू, बुढ़मू और तमाड़ की उपलब्धि 90% से कम रहने पर उपायुक्त ने अगली बैठक से पहले शत-प्रतिशत लक्ष्य प्राप्त करने का निर्देश दिया। योजना अंतर्गत शत-प्रतिशत उपलब्धि प्राप्त करने वाले सीडीपीओ की उपायुक्त ने प्रशंसा की और इसी तरह भविष्य में कार्य करने को कहा।

आंगनबाड़ी केंद्रों में गैस सिलेंडर आपूर्ति के समीक्षा के दौरान सभी बाल विकास परियोजना पदाधिकारियों को आदेश दिया गया कि संबंधित गैस एजेंसी से संपर्क कर आपूर्ति कराना सुनिश्चित करें। साथ ही अगली बैठक में सभी गैस कंपनी के प्रतिनिधियों की भी उपस्थिति सुनिश्चित करें।

उपायुक्त ने जिला अंतर्गत 78 सेविका/सहायिकाओं के रिक्त पद पर फरवरी, 2022 में शत-प्रतिशत चयन करने का निर्देश सभी बाल विकास परियोजना पदाधिकारियों को दिया। उन्होंने ग्रामसभा की बैठक करने का आदेश 31 जनवरी, 2022 तक करने का भी निर्देश दिया।

कुपोषण उपचार केंद्र की समीक्षा के क्रम में जिला अंतर्गत मांडर, बुंडू, डोरंडा एवं बेड़ो में अति कुपोषित बच्चों के इलाज के लिए 55 बिस्तर वाले एमटीसी में मात्र 15 बच्चों के भर्ती रहने पर उपायुक्त ने सख्त नाराजगी जताई। उन्होंने सीडीपीओ बेड़ो, बुंडू सोनहातू तमाड़ एवं सिल्ली से इस संबंध में स्पष्टीकरण मांगा है।