Big News: मंत्री आलमगीर आलम के पीएस संजीव लाल और उसके नौकर को ईडी ने किया गिरफ्तार

झारखंड मुख्य समाचार
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रांची। इस समय बड़ी खबर राजधानी रांची से आ रही है, झारखंड सरकार में मंत्री आलमगीर आलम के पीएस संजीव लाल और उसके नौकर को ईडी ने गिरफ्तार कर लिया। ईडी ने गिरफ्तार करने से पहले संजीव लाल के नौकर जहांगीर आलम के आवास पर छापेमारी की। इस दौरान जहांगीर आलम के घर से 30 करोड़ रुपये कैश बरामद हुआ था। इसके अलावां रांची में 5 और ठिकानों पर ईडी की रेड हुई।

ईडी ने जहांगीर आलम के आवास के अलावा ग्रामीण विकास विभाग के इंजीनियर विकास कुमार के आवास पर भी छापेमारी की। सूत्रों के अनुसार विकास कुमार के आवास से करीब 3 करोड़ रुपये कैश ईडी को मिले हैं। ईडी द्वारा 6 जगहों पर हुई छापेमारी में कुल 35.23 करोड़ रुपये बरामद हुए हैं। इतने बड़े मात्रा में कैश की बरामदी को लेकर ईडी के अधिकारी भी हैरान हैं।

बताते चलें कि, प्रवर्तन निदेशालय ने सोमवार सुबह तड़के जहांगीर आलम के रांची स्थित आवास पर छापेमारी की। इस दौरान ईडी को करीब 30 करोड़ रुपये कैश मिले हैं। जानकारी के अनुसार संजीव लाल और जहांगीर आलम से रात भर ईडी के अधिकारियों ने पूछताछ की। पूछताछ के बाद ईडी ने दोनों पर बड़ा एक्शन लेते हुए धन शोधन निवारण अधिनियम के तहत गिरफ्तार कर लिया।

जानें कैसे शुरू हुआ था मामला

बीते साल 2023 के फरवरी में विभाग के चीफ इंजीनियर वीरेंद्र के. राम को 10 हजार रुपये के रिश्वत से मामला शुरू हुआ था। जिसको लेकर वीरेंद्र राम को गिरफ्तार किया गया था। जिसके बाद मामले की शिकायत ईडी में करने के बाद जब विभाग में हो रहे भ्रष्टाचार के तार खुलने लगे तो मंत्री आलमगीर आलम के पीएस संजीव लाल और उसके सहयोगी जहांगीर आलम पर ईडी की नजर पड़ी।

जानें कौन हैं मंत्री आलमगीर आलम

झारखंड सरकार के ग्रामीण विकास और संसदीय कार्य मंत्री आलमगीर आलम वर्तमान समय में पाकुड़ विधानसभा से विधायक हैं। साल 2000 में आलम पहली बार विधानसभा पहुंचे थे। जिसके बाद वो साल 2004, 2014 और 2019 में विधायक बने। सरपंच से राजनीति की शुरुआत करने वाले आलमगीर आलम साल 2006 से 2009 तक झारखंड विधानसभा के अध्यक्ष भी रह चुके हैं।

मंत्री ने सवाल का नहीं दिया जवाब

ईडी की रेड के बाद जब मीडिया ने आलमगीर आलम से मामले के बारे में पूछा, तो उन्होंने ये कहते हुए कुछ कहने से मना किया कि अभी कार्रवाई चल रही है। कार्रवाई पूरी होने तक कोई भी टिप्पणी करना ठीक नहीं है। वैसे भी संजीव लाल मेरे से पहले दो और मंत्रियों का पीएस रहा है।