कोलकाता। पश्चिम बंगाल में अपराधियों का हौसला काफी बुलंद हो चला है। राज्यपाल की टिप्पणी के बाद अब भाजपा भी यहां राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग करने लगी है। आम आदमी की बात छोड़िए, यहां नेता तक सुरक्षित नहीं हैं।
बहरामपुर में एक टीएमसी नेता की दिन दहाड़े हत्या कर दी गई। टीएमसी नेता सत्यन चौधरी पर कुछ अज्ञात हमलावरों ने गोलीबारी कर दी। वह मुर्शिदाबाद में पार्टी के महासचिव थे। उन्हें तुरंत अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया।
स्थानीय टीएमसी नेताओं के मुताबिक मोटरसाइकलों पर सवार होकर कुछ लोग आए थे और उन्हें बेहद पास से गोली मार दी। पुलिस ने इस मामले की जांच शुरू कर दी है। सूत्रों का कहना है कि पहले चौधरी की करीबी कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी से भी थी। हालांकि बाद में वह टीएमसी में शामिल हो गए। हाल में एक बार फिर उनकी दूरी सत्ताधारी दल से बढ़ने लगी थी।
जानकारी के मुताबिक सत्येन बहरामपुर के भाकुरी चौराहे पर अपने समर्थकों के साथ बैठे थे। तभी कुछ बाइकसवार लोगों ने उन्हें घेर लिया। इसके बाद ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू हो गई। जब तक लोग दौड़ते तब तक बदमाश रफूचक्कर हो गए।
खून से लथपथ सत्येन को मुर्शिदाबाद मेडिकल कॉलेज पहुंचाया गया, लेकिन उनकी जान नहीं बचाई जा सकी। स्थानीय लोगों के मुताबिक सत्येन वामपंथी सरकार के समय में कई बार जेल भी जा चुके थे।
कांग्रेस में भी सत्येन चौधरी को प्रभावी नेता के तौर पर गिना जाता था। टीएमसी में आने के बाद भी उन्हें जिला महासचिव का पद दिया गया था। हालांकि कुछ समय से वह राजनीति से ज्यादा अपने कारोबार में ऐक्टिव थे। वह राजनीति से धीरे-धीरे दूरी बना रहे थे।
पिछले विधानसभा चुनाव में भी वह ज्यादा सक्रिय नहीं रहे। कुछ लोगों का कहना है कि सत्येन की हत्या करने में कांग्रेस समर्थित उपद्रवियों का हाथ है। वहीं कांग्रेस के स्थानीय नेताओं का कहना है कि सत्येन की हत्या उनके अपने लोगों ने ही की है। पुलिस का कहना है कि सीसीटीवी फुटेज की जांच की जा रही है।