आधुनिक संचार प्रणाली वैश्विक परिदृश्य में क्रांतिकारी कदम है : डॉ डीपी दास

झारखंड
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रांची। डोरंडा महाविद्यालय (रांची) के स्नातकोत्तर भौतिकी विभाग में मॉडर्न कम्युनिकेशन सिस्टम (आधुनिक संचार प्रणाली) विषय पर व्याख्यानमाला का आयोजन 8 फरवरी को किया गया। महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ बीपी वर्मा ने इसकी अध्यक्षता की। मुख्य वक्ता भौतिकी के वरीय प्राध्यापक सह बीआरए बिहार विश्वविद्यालय के पूर्व विभागाध्यक्ष डॉ दुर्गा पद दास थे।

प्राचार्य ने कहा कि इस प्रकार के लेक्चर और सेमिनार से विद्यार्थी एवं शिक्षकों  के ज्ञान में नया आयाम जुड़ता है। भविष्य में सभी नेशनल सेमिनार आयोजित किए जाएंगे।

मुख्य वक्ता ने प्रारंभ से आज तक के संचार प्रणाली पर प्रकाश डाला। बताया कि पहले संचार का माध्यम संदेशवाहक, पक्षी एवं घोड़ा जैसे जानवरों पर निर्भर था, लेकिन मोर्स नामक वैज्ञानिक द्वारा आविष्कृत टेलीग्राफ ने संचार प्रणाली में तार के माध्यम से संचार दूर तक भेजने में सफल हुआ। जब मार्कोनी ने रेडियो का आविष्कार किया, तब रेडियो तरंगों के माध्यम से संचार के क्षेत्र में क्रांतिकारी कदम आया।

डॉ दास ने कहा कि आज का संचार तकनीक वैश्विक परिदृश्य में क्रांतिकारी कदम है। इसके माध्यम से रांची में रहकर पूरी दुनिया का समाचार घर बैठे देख या सुन सकते हैं। इसके पीछे सेटेलाइट एवं जियो स्टेशनरी का प्रमुख योगदान है। उन्होंने कहा कि आगे चलकर डिजिटल संचार प्रणाली के संकेतों को सेलुलर ट्रांसमिशन के रूप मोबाइल के माध्यम से पूरी दुनिया को मुठी में लाया जा सका।

डॉ दास ने संचार के माध्यमों रेडियो, टेलीग्राफ, एंटीना, बेव जोन, आडियो-वीडियो, साउंड बेव, पिक्चर्स ट्रांसमिशन, वायरलेश कम्युनिकेशन, इलेक्ट्रिकल वाइब्रेशन,   स्पीच कनभ्रजन, कैरियर वेब को विस्तार से बताया। उन्होंने यह भी बताया कि किस प्रकार से कम्युनिकेशन में एम्लीटीयुड, फ्रीकयुन्सी और फेज माडयुलेशन को परिभाषित व क्रियान्वित करता है।

लेक्चर में डॉ अरूण कुमार, डॉ मिथिलेश कुमार, डॉ ओम प्रकाश सहित शिक्षक उपस्थित रहे। व्याख्यानमाला का विषय प्रवेश एवं स्वागत भाषण भौतिकी के विभागाध्यक्ष डॉ ब्रजेश कुमार ने किया। लेक्चर का संचालन विभाग की प्राध्यापिका डॉ नूतन लता और धन्यवाद बॉटनी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ मलय भारती ने किया।