नई दिल्ली। IPS अधिकारी प्रतीप वी फिलिप ने अपने रिटायरमेंट के दिन वही रक्तरंजित टोपी और बैज पहनाकर विदाई ली है, जो उन्होंने राजीव गांधी हत्याकांड के दिन पहना था।
पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की एक भीषण आत्मघाती हमले में 1991 में चुनाव प्रचार के दौरान हत्या कर दी गई थी। इस हमले में IPS फिलिप बाल-बाल बच गए थे। यह कैप और बैज राजीव गांधी हत्याकांड में एक सबूत के रूप में इस्तेमाल किया गया। DGP (प्रशिक्षण) के रूप में रिटायर हुए फिलिप को हाल ही में शहर की एक अदालत ने टोपी और बैज रखने और उन्हें रिटायरमेंट के दिन पहनने की अनुमति दी थी। फिलिप ने कहा कि वह 21 मई, 1991 को श्रीपेरंबदुर की भयानक त्रासदी पर अपने अनुभवों के आधार पर एक किताब लिखेंगे। इस हमले में लिट्टे के आत्मघाती हमलावर द्वारा खुद को उड़ाए जाने के बाद राजीव समेत कम से कम 14 लोगों की दर्दनाक मौत हो गई थी।
उस वक्त फिलिप कांचीपुरम के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक के रूप में कार्य कर रहे थे। घटना में उनको भी चोटें आईं और विस्फोट के प्रभाव से उनकी टोपी और नाम का बैज नीचे गिर गया था। टोपी और बैज तब से ही ट्रायल कोर्ट की कस्टडी में था।