विधिक सेवा संस्थान की रीढ़ बन चुके हैं पीएलवी : अपर न्यायायुक्त

झारखंड
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  • पांच दिवसीय पीएलवी प्रशिक्षण कार्यक्रम का शुभारम्भ

रांची। जिला विधिक सेवा प्राधिकार, रांची के अंतर्गत व्यवहार न्यायालय के कोर्ट बिल्डिंग सभागार में नव चयनित पारा लीगल वॉलिन्टियर (पीएलवी) का पांच दिवसीय ऑरिएंटेशन एवं इंडक्सन ट्रेनिंग प्रोग्राम25 सितंबर से शुरू हुआ। इसका शुभारम्भ प्रधान न्यायाधीश कुटुंब न्यायालय रांची सैयद सलीम फातमी, अपर न्यायायुक्त आनंद प्रकाश, अतिरिक्त प्रधान न्यायाधीश ll, अतिरिक्त कुटुंब न्यायालय, रांची राजेश कुमार सिंह ने किया।

उदघाटन सत्र में प्रधान न्यायाधीश कुटुंब न्यायालय सैयद सलीम फातमी ने पीएलवी को उनके कर्तव्य एवं कार्य क्षेत्र के बारे में बताया। कहा कि पी.एल.वी अगले पांच दिनों तक पूरी मेहनत और लगन के साथ ट्रेनिंग ले, ताकि वे क्षेत्र में जाकर प्रभावी ढंग से कार्य कर सके। पीड़ितो को उचित विधिक सहायता प्रदान कर सकें।

अपर न्यायायुक्त अमित शेखर ने पीएलवी को मेहनत और लगन से कार्य करने के लिए प्रोत्साहित किया। कहा कि आज के समय में पीएलबी विधिक सेवा संस्थान की रीढ़ बन चुके हैं। प्रशिक्षण कार्यक्रम में बहुत कुछ बताया जाएगा, जिसको अच्छी तरह से समझ कर गांव में समाज में  लोगों को जागरूक करना और लाभ पहुंचना है।

अतिरिक्त प्रधान न्यायाधीश ll, अतिरिक्त कुटुंब न्यायालय रांची राजेश कुमार सिंह ने कहा कि पीएलवी का कार्य बहुत ही महत्वपूर्ण है। उन्‍हें समाज के दबे-कुचले, पीड़ित एवं असहाय वर्ग के लोगों के साथ काम करना हैं। इसीलिए उन्हें संवेदनशील होने की भी जरूरत है।

डालसा सचिव कमलेश बेहरा ने पीएलवी को विस्तार से उनके कार्यक्षेत्र के बारे में बताया। वर्तमान में झालसा द्वारा चलायी जा रही विभिन्न लाभकारी योजनाओं की जानकारी दी। नालसा द्वारा आनेवाली आगामी योजनाओं को भी विस्तार से बताया।

उक्त प्रशिक्षण कार्यक्रम में अगले पांच दिनों तक पीएलवी को उनके कर्तव्यों, कार्यक्षेत्र के अतिरिक्त विभिन्न कानूनों की जानकारी दी जायेगी। साथ ही, सरकार की विभिन्न लाभकारी योजनओं के बारे में भी विस्तृत जानकारी प्रदान की जायेगी।

लीगल एड डिफेंस काउंसिल चीफ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव ने समुदाय के प्रति एक जिम्मेदार नागरिक के कर्तव्य (मौलिक कर्तव्य)। अनुच्छेद 39 ए और विधिक सेवा प्राधिकरण अधिनियम, 1987 और नालसा विनियम। पीएलवी के लिए क्या करें और क्या न करें। ड्रेस कोड आचरण और भारतीय संविधान की प्रस्तावना एवं अन्य प्रावधानों की जानकारी दी।

इसमें 164 ट्रेनी पी.एल.वी. को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। उदघाटन सत्र में  जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव कमलेश बेहरा ने अतिथियों का स्‍वागत किया। इस अवसर पर निबंधक व्यवहार न्यायालय प्रशांत वर्मा भी उपस्थित रहे।

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