रांची। जूनियर डॉक्टर और नर्स की हड़ताल से राजेन्द्र आयुर्विज्ञान संस्थान (RIMS) में हुई 28 मौत की जांच रिटायर्ड जज करेंगे। वे तीन महीने में अपनी रिपोर्ट सरकार को देंगे। जांच कमेटी गठन को लेकर स्वास्थ्य विभाग के विशेष सचिव आलोक त्रिवेदी ने 16 मई को अधिसूचना जारी कर दी।
जानकारी के मुताबिक रिम्स में परिचारिकाओं एवं कनीय चिकित्सकों के हड़ताल पर जाने के कारण 28 लोगों की मौत हो गई थी। इसकी जिम्मेवारी तय करने के लिए झारखंड उच्च न्यायालय में झारखंड छत्र संघ ने याचिका WP (PIL) No-3009/2018 दायर की थी।
संघ के जिम्मेवारी तय करने संबंधी प्रार्थना के आलोक में झारखंड उच्च न्यायालय ने मामले की जांच के लिए सेवानिवृत प्रधान जिला न्यायाधीश को नियुक्त करने के संबंध में राज्य सरकार को निर्णय लेने का आदेश दिया था।
आदेश के आलोक में उक्त मामले में हड़ताल के कारण हुई मौतों की जांच के लिए प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश (सेवानिवृत्त) सज्जन कुमार दूबे की अध्यक्षता में एक सदस्यीय समिति का गठन किया गया है।
समिति अधिसूचना निर्गत करने की तिथि से अधिकतम 3 माह में नामले की जांच करते हुए अपने स्पष्ट मंतव्य के साथ जांच प्रतिवेदन राज्य सरकार को समर्पित करेगी। प्रासंगिक जांच में रिम्स के निदेशक सभी अपेक्षित सहयोग प्रदान करेंगे।
समिति के अध्यक्ष को 1.50 लाख रुपये प्रतिमाह मानदेय देय होगा। इसका भुगतान रिम्स प्रशासन द्वारा किया जायेगा। समिति के अध्यक्ष को प्रधान जिला न्यायाधीश के समतुल्य यात्रा भत्ता एवं अन्य सुविधाएं देय होगी।
समिति के लिए कार्यालय रिम्स के प्रशासनिक भवन में आवंटित किया जायेगा। समिति के कार्यालय के लिए एक सहायक, एक आदेशपाल एवं एक कम्प्युटर ऑपरेटर सुविधा रिम्स प्रशासन द्वारा उपलब्ध करायी जायेगी।