जमशेदपुर। टाटा स्टील ने इंजीनियरिंग और बुनियादी संरचना के क्षेत्र में सहयोग के साथ विश्वसनीय व्यवहार्यता अध्ययन और विस्तृत परियोजना रिपोर्ट के लिए खनिज भंडार की खोज से लेकर एंड टू एंड सेवाएं प्रदान करने के लिए अपनी क्षमताओं में इजाफे के उद्देश्य से एमएन दस्तूर एंड कंपनी प्रा. लिमिटेड के साथ कारोबार सहयोग समझौते पर हस्ताक्षर किया।
टाटा स्टील के रॉ मटेरियल्स के वाइस प्रेसिडेंट डीबी सुंदरा रामम ने इस समझौते पर कहा कि हम टाटा स्टील के प्राकृतिक संसाधन प्रभाग के साथ एक सदी से भी अधिक समय से माइनिंग व्यवसाय में हैं, जो सस्टेनेबल माइनिंग के लिए हमारी कैप्टिव माइंस के लिए विभिन्न अन्वेषण और माइन प्लानिंग सेवाएं प्रदान करते हैं। पिछले 18 महीनों से, हमने टाटा स्टील इंडस्ट्रियल कंसल्टिंग के माध्यम से टाटा स्टील के बाहर खनन उद्योग को व्यावसायिक रूप से अपनी खान तकनीकी सेवाओं की पेशकश शुरू कर दी है।
रामम ने कहा कि एम एन दस्तूर एंड कंपनी के साथ यह समझौता हमारी क्षमताओं और सामर्थ्य का पूरक होगा, विशेष रूप से खदान की बुनियादी संरचना योजना और बैंक योग्य व्यवहार्यता रिपोर्ट तैयार करने के क्षेत्र में। एम एन दस्तूर और हमारे अन्य प्रतिष्ठित बिज़नेस पार्टनर्स के साथ, हम अधिक वैज्ञानिक और सस्टेनेबल माइनिंग विकास के लिए भारत में विशेष रूप से और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ऐसी सेवाओं के मानकों को बढ़ाने का इरादा रखते हैं।
टाटा स्टील भारत में माइनिंग में सबसे पुरानी और सबसे बड़ी निजी क्षेत्र की कंपनी है। यह एक सदी से अधिक समय से खनन क्षेत्र में है और लौह अयस्क, मैंगनीज, क्रोमाइट और कोयले की कई खदानों का संचालन कर रही है। यह खनिज अन्वेषण, खान योजना, वैज्ञानिक खनन संचालन और खनिज प्रसंस्करण में गहरा ज्ञान और अनुभव रखती है।
एम एन दस्तूर एंड कंपनी के जेनरल मैनेजर बिजनेस डेवलपमेंट अभिजीत रे ने कहा कि हमें माइन इंफ्रास्ट्रक्चर प्लानिंग योजना और डाउनस्ट्रीम खनिज प्रसंस्करण और इंजीनियरिंग सेवाओं को डिलीवर करने के लिए टाटा स्टील के साथ मिलकर काम करने पर खुशी हैं। खान तकनीकी सेवाओं के क्षेत्र में टाटा स्टील और इसके साझेदारों के साथ मिलकर हम पूर्व-व्यवहार्यता और व्यवहार्यता अध्ययन सहित खदान योजना और खान की बुनियादी संरचना की योजना के सभी पहलुओं को शामिल करते हुए एकीकृत एंड टू एंड सेवाएं प्रदान कर सकते हैं।