कुकिंग कॉस्ट की राशि छात्रों को दिये जाने की डीसी ने की समीक्षा

झारखंड शिक्षा
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रांची। पीएम पोषण शक्ति निर्माण योजना (मध्याह्न भोजन योजना) अंतर्गत जिला स्तरीय स्टीयरिंग सह मॉनिटरिंग कमेटी की बैठक 26 जुलाई को हुई। इसकी अध्‍यक्षता रांची उपायुक्त राहुल कुमार सिन्हा ने की। समाहरणालय ब्लॉक ए स्थित उपायुक्त सभागार में आयोजित बैठक में समिति के सभी सदस्य उपस्थित हुए। उपायुक्त द्वारा एजेंडवार समीक्षा करते हुए संबंधित पदाधिकारियों को योजना के बेहतर क्रियान्वयन के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश दिये गये।

96 फीसदी राशि हस्तांतरित कर दी गयी

उपायुक्त द्वारा कुकिंग कॉस्ट की राशि छात्रों को दिये जाने की समीक्षा की गयी। डीबीटी के माध्यम से छात्रों के बैंक खाता में हस्तांतरण के उपरांत शेष राशि छात्रों को नकद भुगतान के बारे में भी उपायुक्त ने विस्तार से जानकारी ली। जिला शिक्षा अधीक्षक ने बताया कि नकद और डीबीटी के माध्यम से लगभग 96 प्रतिशत राशि हस्तांतरित कर दी गयी है।

वेंडर आधारित भुगतान की समीक्षा

कुकिंग कॉस्ट की राशि डीबीटी के माध्यम से छात्रों के बैंक खाता में हस्तांतरण एवं सरस्वती वाहन संचालन समिति के माध्यम से छात्रों को नकद भुगतान को लेकर उपायुक्त ने कहा कि रुटीन वे में राशि भुगतान करते रहे, राशि की कमी होने पर रिमाइंडर दें।

वित्तीय वर्ष 2022-23 के प्रथम त्रैमास के 55 दिनों के लिए प्राप्त कुकिंग कॉस्ट की राशि का हस्तांतरण एसएनए के माध्यम से वेंडर आधारित भुगतान की समीक्षा भी उपायुक्त द्वारा की गयी। उपायुक्त ने जल्द से जल्द लंबित भुगतान करने के निर्देश दिये।

नामांकन की समीक्षा की गई

बैठक के दौरान उपायुक्त द्वारा योजना अंतर्गत छात्रों के नामांकन के विरुद्ध आच्छादन की समीक्षा की गयी। प्रखंडवार आच्छादन पर संतोष जताते हुए उपायुक्त ने शहरी क्षेत्र के विद्यालयों में सुधार करने के आदेश दिये। अतिरिक्त पोषाहार अंडा/फल मद में प्राप्त आवंटन एवं उपयोगिता, रसोईया को भुगतान की भी समीक्षा उपायुक्त द्वारा की गयी।

बच्चों के प्रदर्शन पर भी दें ध्यान

उपायुक्त ने कहा कि सभी योजनाओं का बेहतर ढंग से क्रियान्वयन सुनिश्चित करायें। उन्होंने बच्चों के प्रदर्शन पर भी विशेष तौर पर ध्यान देने की बात कही। उपायुक्त ने कहा कि स्कूल अवधि में पीरियड व्यवस्था पर ध्यान दें। इसमें किसी तरह की कमी नहीं हो। रेग्यूलर एग्जाम, क्विज का आयोजन करायें। जो बच्चे क्विज में क्वालीफाई नहीं कर पाते, उनके लिए एक्स्ट्रा क्लासेस की व्यवस्था करें।