
- प्रशासन ने यहां आने की मनाही की थी
अवनीश कुमार
फर्रुखाबाद (उत्तर प्रदेश)। कार्तिक मेले को लेकर प्रशासन ने पशुपालकों को गंगा घाट पर आने की मनाही की थी। प्रशासन की मनाही के बाद भी पशु व्यापारियों और पशुपालकों ने यहां डेरा जमा लिया है। व्यापारियों को उम्मीद है इस बार उनकी किस्मत कर द्वार जरूर खुलेंगे।
ढाई घाट की पवित्र गंगा नदी पर लगने वाला कार्तिक मेला 3 दिनों तक लगता है। इस मेले पर आने वाले श्रद्धालु कार्तिक पूर्णिमा पर्व पर गंगा स्नान करते हैं। वहीं अधिकांश लोग मेले में डेरा जमाकर पशुओं का क्रय विक्रय करते हैं। मेले में किसान द्वारा पशुओं का अच्छा खासा क्रय विक्रय किया जाता है।
इस मेले में फर्रुखाबाद के अलावा कन्नौज, कानपुर, हरदोई, लखनऊ, एटा, फिरोजाबाद, शिकोहाबाद बेवर, मैनपुरी सहित तमाम इलाकों से पशु व्यापारी आते हैं। मेले में रहकर पशुओं की खरीदारी का कार्य करते हैं। इस कार्य में ग्रामीण क्षेत्र में रहने वाले गरीब मजदूर किसान भी अच्छी खासी भूमिका निभाते हैं।
ढाईघाट की पवित्र गंगा नदी पर लगने वाला कार्तिक मेला सदियों पुराना है। सदियों से ही यहां भक्त, व्यापारी, किसान, मजदूर, झुग्गी, झोपड़ियों के सहारे अपना वक्त गुजारते हैं।