आजादी का अमृत महोत्सव : चित्र प्रदर्शनी का शुभारंभ

झारखंड
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रामगढ़। स्वतंत्रता के 75 वर्ष का समारोह पूरे देश में आजादी का अमृत महोत्सव के रूप में मनाया जा रहा है। इस महोत्सव पर आज सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय भारत सरकार के प्रादेशिक लोक संपर्क ब्यूरो, रांची द्वारा रामगढ़ कॉलेज प्रांगण में जिला प्रशासन के सहयोग से पांच दिवसीय चित्र प्रदर्शनी लगाई गई। इसका शुभारंभ उपायुक्त संदीप सिंह ने किया।

इस अवसर पर उपायुक्त ने कहा कि मैं सौभाग्यशाली महसूस कर रहा हूं कि देश एवं झारखंड के वीर सपूतों पर आधारित इस प्रदर्शनी में शिरकत करने का मौका मुझे पीआईबी एवं आरओबी रांची ने दिया। मुझे उम्मीद है आज के इस कार्यक्रम में मौजूद सभी लोग खासकर युवा देश के स्वतंत्रता सेनानियों से प्रेरणा लेंगे। उनके सुझाए रास्ते पर चलेंगे। यही उनको हमारी सच्ची श्रद्धांजलि होगी।

पीआईबी व प्रादेशिक लोक संपर्क ब्यूरो रांची के अपर महानिदेशक अरिमर्दन सिंह ने कहा कि स्वतंत्रता सेनानियों ने हमें आजादी दिलाई। हम आज के दिन यह संकल्प लें कि समाज की कुरीतियों के खिलाफ लड़ेंगे। जिस खुली हवा में आज हम सांस ले रहे हैं, उसके लिए देश के वीर सपूतों ने अनेकों यातनाएं झेली। कई ने तो आजादी का शुभ पल भी नहीं देखा। हमारी जिम्मेदारी बनती है कि हम उनके सपनों को साकार करें। हमें आजादी तो मिल गई, लेकिन अभी भी बहुत सारा काम देश सुधार एवं प्रगति का करना है। खासकर प्रकृति का जिस तरह से अभी दोहन चल रहा है उसे हमें रोकना होगा।

इस अवसर पर विभाग से जुड़े गीत एवं नाट्य दल के कलाकारों ने देश-भक्ति के गीत प्रस्तुत कर ओजस्वी समा बांधा। उन्होंने सफाई एवं सामाजिक कुरीतियों के ऊपर नाटक की प्रस्तुति भी दी। उपायुक्त एवं अपर महानिदेशक के अलावा मंच पर रामगढ़ महिला कॉलेज की प्रिंसिपल एवं रामगढ़ कॉलेज के प्रिसिपल इन-चार्ज भी मौजूद थे।

कार्यक्रम में विषय प्रवेश आरओबी रांची के कार्यालय प्रमुख शाहिद रहमान ने कराया। धन्यवाद क्षेत्रीय प्रचार अधिकारी ओंकार नाथ पांडेय ने किया। इस आयोजन में क्षेत्रीय प्रचार अधिकारी गौरव कुमार पुष्कर, क्षेत्रीय प्रचार सहायक अंजनी मिश्रा, मनोज कुमार, खुर्शीद आलम की सक्रिय भूमिका रही।

इस प्रदर्शनी में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी, सरदार वल्लभभाई पटेल और नेताजी सुभाष चंद्र बोस पर उनकी जीवन से जुड़ी घटनाओं पर चित्र पट्टिकाएं लगाई गई हैं। राज्य के वीर सपूतों जैसे धरती आबा बिरसा मुंडा, गया मुंडा, सिदो कान्हू, शेख भिखारी आदि से जुड़ी घटनाओं को भी इस चित्र प्रदर्शनी में दर्शाया गया है।