हजारीबाग। मंगलवार को हजारीबाग सर्किट हाउस पहुंचे भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने कहा कि झारखंड की हेमंत सोरेन सरकार ने गुजरे तीन सालों में घोटालों के रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। घोटाला करना, घोटालेबाजों को बचाना, घोटाले में हिस्सा लेना, दलाल माफियाओं के सहारे पैसे कमाना ही इस सरकार का मुख्य काम रह गया है।
संवाददाता सम्मेलन में मरांडी ने कहा कि उच्च न्यायालय के आदेश पर 6 मई, 2021 को केंद्रीय जांच एजेंसी ईडी की कार्रवाई मनरेगा मामले में शुरू नहीं हुई होती, तो पूजा सिंघल समेत कई लोग पकड़े नहीं जाते। नोटों का भंडार नहीं पकड़ा जाता, तो राज्य को हेमंत सोरेन आज घोटाले के मामले में कहां पहुंचा देते। हाई कोर्ट के आदेश पर शुरू हुई मनरेगा घोटाले की जांच से लगता है कि आगे और न जाने कितने नये घोटाले उजागर होंगे।
मरांडी ने कहा कि अब तक जो घोटाले पकड़े गए हैं, उनमें 550 करोड़ का मनरेगा घोटाला, 1500 करोड़ का उद्योगों के लिए आवंटित कोयला का घोटाला, 1500 करोड़ का अवैध खनन घोटाला, 3000 करोड़ का ग्रामीण विकास के लिए आवंटित फंड के दुरुपयोग का घोटाला, 3000 करोड़ से भी ज्यादा का भूमि घोटाला, 800 करोड़ का टेंडर घोटाला, 100 करोड़ से भी अधिक का ट्रांसफर-पोस्टिंग घोटाला और 1500 करोड़ का शराब घोटाला प्रमुख रूप से शामिल हैं।
इस प्रकार 10 हजार करोड़ से अधिक का घोटाला इस सरकार में उजागर हुआ है। अब तो खनन घोटाले की जांच में न्यायालय के आदेश से सीबीआई भी आ गई है। मरांडी ने कहा कि जब इंजीनियर विरेंद्र राम एवं उनसे जुड़े ठिकानों पर छापेमारी हुई, तो झारखंड सरकार ने विरेंद्र राम के विभागों से जुड़े करीब तीन हजार करोड़ के छह सौ टेंडर रद्द कर दिए, लेकिन इसके आगे कोई कार्रवाई नहीं की।
यदि गलती नहीं थी, तो टेंडर क्यों रद्द किया गया? यदि टेंडर रद्द नहीं होता, तो इस 3000 करोड़ में से सीधे 15 परसेंट के हिसाब से 450 करोड़ रुपये सीधे दलालों, कुछ अफसरों और सत्ताधारियों की जेब में चला जाता, जिसे ईडी की कार्रवाई ने बचा लिया।
मरांडी ने कहा कि जमीन घोटाले में तो हेमंत सरकार ने रिकॉर्ड ही कायम कर दिया। जांच में हेमंत सोरेन और उनके परिवार द्वारा बलपूर्वक आदिवासियों की जमीन कब्जा करने, कौड़ी के भाव नामी-बेनामी खरीदने के अनेकों मामले पकड़ में आए हैं।
जांच में रांची में हेमंत सोरेन की 100 करोड़ मूल्य की एक 8.5 एकड़ की एक ऐसी जमीन पकड़ में आयी है, जो बेनामी 16 लोगों के नाम से है। ऐसे ही जमीन के बारे में पूछताछ के लिए ईडी हेमंत को बुला रही है और हेमंत भाग रहे हैं। क्योंकि, ऐसी जमीन के बारे में उनके पास कोई जवाब है ही नहीं।