Jharkhand : अब जमीन पर बैठकर नहीं पढ़ेंगे 6837 सरकारी स्‍कूलों के बच्‍चे

झारखंड शिक्षा
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  • बेंच-डेस्‍क खरीदने के आदेश, इन नियमों का करना है पालन

रांची। झारखंड (Jharkhand) के 6837 सरकारी स्‍कूलों के बच्‍चे अब जमीन पर बैठकर नहीं पढ़ेंगे। उन स्‍कूलों के लिए बेंच और डेस्‍क खरीदे जाएंगे। इसका निर्देश झारखंड शिक्षा परियोजना परिषद् की राज्‍य परियोजना निदेशक किरण कुमारी पासी ने 19 अप्रैल को दिया है। इस बाबत उन्‍होंने सभी जिला शिक्षा पदाधिकारी-सह-जिला कार्यक्रम पदाधिकारी को भी जानकारी दी है। कहा है कि राज्य के सभी सरकारी विद्यालयों में बेंच-डेस्क की सुविधा उपलब्ध कराना है।

निदेशक ने पत्र में लिखा है कि राज्य सरकार से प्राप्त राशि से सभी सरकारी विद्यालयों में बेंच-डेस्क की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए 30 सितंबर, 2016 को जिलों को उपलब्ध कराई गई थी। जिलों को क्रय की प्रक्रिया के संबंध में विस्तृत दिशा-निर्देश दिया गया था। जिलों द्वारा उपलब्ध कराई गई राशि राज्य कार्यालय को वित्तीय वर्ष 2020-21 में राज्य कार्यालय को वापस कर दी गई थी।

निदेशक के अनुसार क्षेत्र भ्रमण और मीडिया की खबरों से ज्ञात हुआ कि अभी भी कुछ विद्यालयों में बेंच-डेस्क की आवश्यकता है। बच्चे जमीन पर बैठ कर पठन-पाठन कर रहे हैं। 30 जनवरी, 2023 को संपन्न राज्य स्तरीय समीक्षा बैठक में जिलों द्वारा 6671 प्रारंभिक विद्यालय और 166 माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में बेंच-डेस्क की आवश्यकता के संबंध में विद्यालयवार सूची उपलब्ध कराई गई।

निदेशक ने लिखा है जिला द्वारा उपलब्ध कराई गई सूची के अनुसार जिलों को 16 मार्च, 2023 को बेंच-डेस्क क्रय के लिए राशि उपलब्ध करायी गई है। साथ ही, जिन विद्यालयों में बेंच-डेस्क उपलब्ध कराया जाना है उसकी सूची भी उपलब्ध करा दी गई है।

निदेशक के अनुसार राज्य कार्यालय में पूर्व के वर्षों के उपलब्ध राशि की समीक्षा 9 मार्च, 2023 को की गई। सक्षम प्राधिकार की अनुमति के बाद विद्यालयों को जिलावार बेंच-डेस्क क्रय के लिए राशि उपलब्ध करायी गई है। बेंच-डेस्क का क्रय पूर्व में राज्य कार्यकारिणी समिति की 46वीं बैठक में लिए गए निर्णय के आलोक में किया जाना है।

पत्र में कहा गया है कि राज्य कार्यकारिणी समिति द्वारा पूर्व में बेंच-डेस्क के लिए निर्धारित दर में बाजार मूल्य और GST की दर में बढ़ोतरी के कारण प्रति ईकाई बेंच-डेस्क की दर 4000 रुपये के स्थान पर 5000 रुपये की गई है। अन्य सभी शर्तें एवं विशिष्टता पूर्ववत् रहेगी।

बेंच-डेस्क का क्रय विद्यालय प्रबंधन समिति द्वारा विकेन्द्रीयकृत रूप से किया जाना है। राज्य द्वारा निर्धारित क्रय प्रक्रिया का अक्षरशः पालन किया जाय।

इन बिन्दुओं का पालन करना है

1. इस राशि का किसी अन्य मद से विचलन मान्य नहीं होगा।

2. बेंच-डेस्क क्रय के लिए विशिष्टताओं एवं लागत के अनुरूप विद्यालय प्रबंधन समिति द्वारा स्थानीय स्तर पर बेंच-डेस्क का क्रय/निर्माण कराया जायेगा।

3. किसी भी परिस्थिति में बिचौलियों के माध्यम से केन्द्रीयकृत रूप से योजना का कियान्वन नहीं किया जाय।

4. बेंच-डेस्क के कय में GST का भुगतान अनिवार्य रूप से किया जाय।

5. सभी जिले यह सुनिश्चित करेंगे कि किसी भी विद्यालय में आवश्यकता से अधिक बेंच-डेस्क का क्रय नहीं हो। यदि ऐसी स्थिति होती है तो उस विद्यालय के प्रभारी/प्रधानाध्यापक जबाबदेह होंगे। यदि विद्यालय की सूची में किसी भी प्रकार के बदलाव की आवश्यकता हो तो राज्य परियोजना कार्यालय को सूचित करते हुए सूची में बदलाव किया जा सकता है ।

6. विद्यालय में बेंच-डेस्क की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए प्रखंड स्तर पर प्रखंड शिक्षा प्रसार पदाधिकारी नोडल पदाधिकारी होंगे, जो अपने प्रखंड के सभी विद्यालयों में गुणवत्तापूर्ण बेंच-डेस्क उपलब्ध कराना सुनिश्चित करेंगे।

7. बेंच-डेस्क की गुणवत्ता एवं इसका अनुश्रवण जिला शिक्षा पदाधिकारी एवं जिला शिक्षा अधिक्षक द्वारा किया जायेगा।

8. बेंच-डेस्क की गुणवत्ता मानक डिजाईन एवं विशिष्टता के अनुरूप होने से संबंधित प्रमाण पत्र संबंधित कनीय अभियंता एवं जिले के सहायक अभियंता के द्वारा निर्गत किया जायेगा। क्रय से संबंधित अभिश्रव संबंधित कनीय अभियंता एवं विद्यालय के प्रधानाध्यापक/प्रभारी द्वारा संयुक्त रूप से तीन प्रतियों में अभिप्रमाणित किया जायेगा। एक प्रति विद्यालय, एक प्रति जिला कार्यालय और एक प्रति राज्य कार्यालय में समर्पित किया जायेगा।

9. बेंच-डेस्क निर्माण/क्रय की प्रक्रिया की समाप्ति के बाद जिला शिक्षा पदाधिकारी-सह-जिला कार्यक्रम पदाधिकारी झारखंड शिक्षा परियोजना द्वारा समेकित रूप से उपयोगिता प्रमाण पत्र जिला एवं राज्य परियोजना कार्यालय को उपलब्ध कराया जायेगा।

10. विद्यालयों में उपलब्ध कराये गये बेंच-डेस्क की फोटोग्राफ भी उपलब्ध कराई जानी है।

11 राज्य द्वारा निर्धारित मानक डिजाईन एवं लागत में किसी भी प्रकार का विचलन मान्य नहीं होगा। संभव है उक्त दर में वास्तविक व्यय कम या अधिक हो सकता है, लेकिन किसी भी स्थिति‍ में प्रति बेंच-डेस्क की लागत 5000 रुपये प्रति ईकाई से अधिक का भुगतान संभव नहीं होगा।

12. विद्यालयों के लिए बेच-डेस्क का क्रय 30 जून, 2023 तक अनिवार्य रूप से पूरा करेंगे।

13. सभी जिला जिला शिक्षा पदाधिकारी-सह-जिला कार्यक्रम पदाधिकारी, बेंच-डेस्क के क्रय की प्रक्रिया में समग्र शिक्षा तथा राज्य सरकार के वित्तीय नियमावली का अक्षरशः अनुपालन करना सुनिश्चित करेंगे।