छत्तीसगढ़। बड़ी खबर छत्तीसगढ़ से आ रही है. मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में राज्य की वरिष्ठ ब्यूरोक्रेट सौम्या चौरसिया को ED ने गिरफ्तार कर लिया है.
उससे पहले ईडी ने आईएएस अधिकारी समीर विष्णोई और व्यापारी सूर्यकांत तिवारी समेत तीन अन्य को गिरफ्तार किया. बताया जा रहा है कि यह मनी लॉन्ड्रिंग मामला खदानों में लगे ट्रांसपोर्टर और ट्रकों पर अवैध लैवी वसूलने का है. यह आशंका जताई जा रही है कि 16 महीनों में 500 करोड़ रुपए इधर से उधर किए गए.
जानकारी के अनुसार ईडी ने चौरसिया को राज्य में कथित कोयला ढुलाई घोटाले में धन शोधन की जांच के संबंध में गिरफ्तार किया. राज्य की शक्तिशाली नौकरशाह मानी जाने वाली चौरसिया को संघीय एजेंसी द्वारा पूछताछ के बाद धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) की आपराधिक धाराओं के तहत गिरफ्तार किया गया. गिरफ्तारी के बाद अधिकारी को स्वास्थ्य जांच के लिए ले जाया गया.
ईडी ने अक्टूबर में भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के अधिकारी समीर विश्नोई और दो अन्य लोगों को मामले में कई छापे मारने के बाद गिरफ्तार किया था. ईडी द्वारा आयकर विभाग की एक शिकायत का संज्ञान लेने के बाद शुरू की गई धन शोधन की जांच ‘‘एक बड़े घोटाले से संबंधित है, जिसमें वरिष्ठ नौकरशाहों, व्यवसायी, नेता और बिचौलिए के गठजोड़ द्वारा छत्तीसगढ़ में ढुलाई किए गए प्रत्येक टन कोयले से 25 रुपये प्रति टन की अवैध उगाही की गई है.’’
बता दें कि मुख्यमंत्री बघेल ने पिछले हफ्ते पत्रकारों से बातचीत में ईडी पर अपना हमला तेज करते हुए जांच एजेंसी पर अपनी हद पार करने और राज्य में लोगों के साथ अमानवीय व्यवहार करने का आरोप लगाया था.