उत्तराखंड। उत्तराखंड के बेरीनाग दौलीगाड़ में जीवित होने के बावजूद एक मां ने अपनी बेटी को मरने के लिए जंगल में छोड़ दिया। इसके पीछे बच्चे का लड़की होना बताया जा रहा है। दौलीगाड़ के नजदीक जंगल में सुबह आठ बजे के करीब महिला ने बगैर किसी की मदद के बच्ची को जन्म दिया। डिलीवरी के बाद बच्ची बिल्कुल सुरक्षित थी और वह जीवित अवस्था में ही उसे जंगल में छोड़ आई।
लगभग दो घंटे बाद गांव की महिलाएं घास काटने जंगल गई तो उन्हें बच्ची मृत अवस्था में मिली। महिला अगले दिन जंगल में वापिस इस डर से पहुंची कि गांव के लोग मृत बच्ची को न देख लें, इसलिए उसने नवजात के शव को दफनाने का फैसला लिया और जंगल में गड्ढा खोदकर दफना दिया।
पुलिस को जांच के दौरान सिर्फ शाल मिली है जिसमें लपेट कर उसे दफनाया गया था, लेकिन बच्ची का शव नहीं मिला है। रविवार को पुलिस ने आरोपी मां को गिरफ्तार कर लिया है। इस मामले में पुलिस ने आरोपी के खिलाफ बच्ची को जानबूझकर मरने के लिए छोड़ने और अपराध को छुपाने और सबूत को मिटाने के आरोप में धारा 315,317 और 201 के तहत मुकदमा दर्ज किया है।
खबर के मुताबिक, महिला के पहले से ही तीन बच्चे हैं। लगभग आठ साल के बाद महिला फिर से गर्भवती हुई। लेकिन लड़की होने से महिला ने बच्ची को जंगल में ही छोड़ दिया। लेकिन गांव वालों की शिकायत के बाद उसे गिरफ्तार कर लिया गया।