तालिबान की शुरा काउंसिल अफगानिस्तान पर अब शासन करेगी। संगठन आज सरकार के निर्माण को लेकर निर्णय ले लिया गया है। जानकारी के अनुसार, शुरा काउंसिल में तालिबान के क्षेत्रीय समूहों के लोग शामिल किए जाएंगे।
सरकार में कोई भी महिला सदस्य नहीं होगी। इस काउंसिल के सदस्य ही सरकार का प्रतिनिधित्व करेंगे। मुल्ला अब्दुल गनी बरादर राजनीतिक दफ्तर के हेड हो सकते हैं। नई सरकार में विदेश मंत्री का पद शेर अब्बास स्तानिकजाई को दिया जा सकता है। स्तानिकजाई के चुनाव के पीछे उनकी अंतरराष्ट्रीय सर्किल में पहचान है। मिल रही जानकारी के मुताबिक, हक्कानी नेटवर्क को सरकार में 50 फीसदी की भागीदारी मिल सकती है। वारलॉर्ड से नेता बनने की फिराक में लगे गुलुबुद्दीन हेकमतयार को भी सरकार का हिस्सा बनाया जा सकता है। वहीं, पंजशीर में सालेह और मसूद की अगुवाई में विद्रोहियों और तालिबान के बीच खूनी जंग जारी है।
बता दें कि 15 अगस्त को काबुल पर कब्जा हासिल करने वाले तालिबान को अब भी पंजशीर से जबरदस्त प्रतिरोध का सामना करना पड़ रहा है। अफगानिस्तान की पूर्ववर्ती सरकार के हजारों सैनिक भागकर पंजशीर पहुंच चुके हैं जो तालिबान से लोहा लेने के लिए तैयार हैं।