कोचिंग सेंटर खोलने की अनुमति देने की मांग को लेकर संचालक सड़क पर

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रांची। कोचिंग संचालक सड़क पर उतर गये हैं। उन्होंने कोचिंग खोलने की अनुमि‍त देने की मांग की है। उनका कहना है कि नौ महीने से कोचिंग बंद होने से प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी करने वाले विद्यार्थियों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है। उनकी आर्थिक स्थिति भी दिन-ब-दिन खराब होती जा रही है। राज्य में 1500 से ज्यादा कोचिंग संस्थान हैं।

पूरी तरह बेरोजगार
राजधानी रांची के सरकुलर रोड के समीप स्थित के मॉल के समक्ष झारखंड कोचिंग एसोसिएशन के बैनर तले कोचिंन संचालक और वहां के शिक्षकों ने प्रदर्शन किया। इस क्रम में उन्होंने हाथों में नारे लिखे पोस्टर और बैनर ले रखा था। इसमें कोचिंग खोलो हेमंत सरकार, इसमें हमारा क्या दोष, हम शिक्षक पर पड़ी है कोरोना की मार, अब हम पूरी तरह हो चुके हैं बेरोजगार सहित अन्य नारे लिखे हुए थे।

भुखमरी की स्थिति
कोचिंग एसोसिएशन ने 10वीं और 12वीं के सरकारी स्कूलों में पठन-पाठन आज से चालू होने के बाद कोचिंग खोलने देने की अनुमति की मांग कर रहे हैं। इसे लेकर राज्य भर के कोचिंग संचालक राजधानी में जमा हुए। सरकार से कोचिंग चलाने की अनुमति मांगी। उनका कहना है कि कोचिंग पिछले 9 महीने से बंद है, जिसके कारण संचालक के सामने भुखमरी की स्थिति उत्पन्न हो गई है।

बोझ तले दबे हुए हैं
कोचिंग संचालकों का कहना है कि रांची में कोचिंग संस्थानों का औसत किराया करीब 50 हजार रुपये है। सिक्यूरिटी मनी 3 से 5 लाख तक है। बड़े संस्थानों का खर्च इससे भी अधिक है। लॉकडाउन से पहले भी कोचिंग संस्थान बोझ से दबे हुए थे। किसी तरह अपना जीवन यापन कर रहे थे। कोरोना संकट के बाद उनकी हालत अत्यधिक खराब हो गई है।

आमदनी शून्य हो गई
लॉकडाउन के बाद से आमदनी शून्य हो गई है। खर्च में नहीं के बराबर कमी आई है। किराया और स्टााफ को सैलरी देनी पड़ रही है। बड़े संस्थानों को छोड़कर ऑनलाइन क्लास चलाने प्रयास भी पूरी तरह सफल नहीं हो पाया। कोचिंग संचालकों का कहना है कि उनके सामने अब दो जून की रोटी जुटाना मुश्किल हो गया है। कोचिंग संस्थान औसतन 5 लाख रुपये के घाटे में है।

अध्यक्ष को ज्ञापन सौंपा था
कोचिंग संचालकों ने पिछले दिनों तत्कालीन शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो और विधानसभा अध्यक्ष रवींद्रनाथ महतो को ज्ञापन सौंपा था। उन्हें कोचिंग संचालकों की परेशानियों से अवगत कराया गया था। संघ को उम्मीद थी कि सरकार उनके हितों का ध्यान रखेगी। हालांकि अब तक कोचिंग खोलने की अनुमति नहीं दी गई है।

तैयारी करने में दिक्कत
कोचिंग संस्थान बंद रहने से प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी करने वाले छात्रों को दिक्कत हो रही है। कुछ संस्थानों में ऑनलाइन कक्षाएं चल रही है। हालांकि इसका लाभ सीमित सभी विद्यार्थियों को नहीं मिल रहा है। कई विद्यार्थी को इस क्रम में दिक्कत आ रही है। उन्हें समझ में नहीं आ रहा है कि तैयारी कैसे करें।

साल की शुरुआत से परीक्षाएं
नए वर्ष की शुरुआत से ही प्रतियोगिता परीक्षाओं का दौर शुरू हो जाएगा। 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षा के अलावा इंजीनियरिंग, मेडिकल संस्थानों में नामांकन के लिए प्रवेश परीक्षाएं फरवरी-मार्च से शुरू होगी।

जेइइ मेन की तिथि घोषित
जेइइ मेन-2021 की तिथि भी घोषित कर दी है। अगले वर्ष यह चार सत्रों में आयोजित होगा। पहले चरण की परीक्षा फरवरी में ली जायेगी। इसके अलावा मेडिकल, लॉ कॉलेज, मैनेजमेंट कॉलेजों में नामांकन के लिए होनेवाली प्रवेश परीक्षाओं की तिथि भी जल्द घोषित कर दी जायेगी। कोचिंग बंद रहने से छात्रों को दिक्कत हो रही है।